हर साल ज्येष्ठ मास में बुढ़वा मंगल पड़ता है। इस दिन हनुमान जी के वृद्धि स्वरूप की पूजा की जाती है और यही वजह है कि इस इस दिन को बुढ़वा मंगल के नाम से जाना जाता है। हनुमान जी की पूजा करने से जीवन के सारे कष्ट और संकट दूर हो जाते हैं इसलिए अगर आप भी अपनी किसी परेशानी से छुटकारा पाना चाहते हैं या किसी मनोकामना की पूर्ति चाहते हैं, तो बुढ़वा मंगल के दिन हनुमान जी की उपासना जरूर करें।

इस ब्लॉग में आगे बताया गया है कि बुढ़वा मंगल 2024 में कब पड़ रहा है और ज्योतिष में इस दिन का क्या महत्व है।
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कब पड़ रही है बुढ़वा मंगल
हिंदू पंचांग के अनुसार 28 मई को पहला बुढ़वा मंगलवार पड़ेगा। आपको बता दें कि 22 मई को शाम 06 बजकर 49 मिनट पर पूर्णिमा तिथि आरंभ हो जाएगी और इसका समापन अगले दिन 23 मई को शाम 07 बजकर 24 मिनट पर होगा। यहीं से प्रतिपदा तिथि आरंभ होगी और यह 24 मई को शाम 07 बजकर 26 मिनट तक रहेगी। प्रतिपदा तिथि से ही ज्येष्ठ मास के कृष्ण पक्ष शुरू होंगे और ज्येष्ठ माह का आरंभ होगा। इस प्रकार 28 मई को बुढ़वा मंगल का पहला मंगलवार पड़ेगा।
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पहले बुढ़वा मंगल पर बन रहा है शुभ योग
पहला बुढ़वा मंगल 28 मई को पड़ रहा है और इस दिन एक शुभ योग भी बनने जा रहा है। इस दिन ब्रह्म योग बन रहा है जिसकी शुरुआत 28 मई को ही सुबह 04 बजकर 27 मिनट पर होगी और इसका समापन अर्ध रात्रि 02 बजकर 05 मिनट पर होगा।
ब्रहृम योग एक शुभ योग है जो व्यक्ति को सुख-संपत्ति, ज्ञान और लंबी आयु प्रदान करता है। इस योग में शुभ कार्य एवं दान-पुण्य किया जा सकता है। अगर आप कोई शुभ कार्य या नया काम शुरू करना चाहते हैं, तो बुढ़वा मंगलवार के दिन इस योग में कर सकते हैं। इस योग में किए गए सभी कार्य जरूर सफल होते हैं।
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किसे कहते हैं बुढ़वा मंगल
ज्योतिष के अनुसार ज्येष्ठ के महीने में पड़ने वाले सभी मंगलवार को बुढ़वा मंगल या बड़े मंगलवार के नाम से जाना जाता है। इसके बाद बुढ़वा मंगलवार 04 जून, 11 जून और 18 जून को पड़ेगा।
क्या है बुढ़वा मंगल का इतिहास
इस शुभ दिन के इतिहास का संबंध रामायण और महाभारत काल से है। इस दिन को लेकर यह माना जाता है कि एक बार पांडव पुत्र भीम को अपने बल और शक्ति पर घमंड हो गया था। उस समय हनुमान जी वहां पर एक बूढ़े वानर के रूप में प्रकट हुए।
हनुमान जी ने इसी रूप में भीम को सबक सिखाया था और तभी से उस दिन को हिंदू धर्म में बुढ़वा मंगल के नाम से जाना जाने लगा है।
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बुढ़वा मंगल को लेकर रामायण काल की कथा
हनुमान जी के जन्म की लीला रामायण काल से अधिक संंबंधित है। जब हनुमान जी माता सीता को ढूंढते हुए लंका पहुंचे और रावण ने उन्हें बंदी बना लिया था, तब लंकापति रावण ने हनुमान जी की पूंछ में आग लगा दी थी। हनुमान जी ने अपनी जली हुई पूंछ से पूरी लंका में आग लगा दी।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार उस दिन ज्येष्ठ मास का बुढ़वा मंगलवार ही था। यही वजह है कि हनुमान जी की उपासना के लिए ज्येष्ठ मास के बुढ़वा मंगल को अधिक महत्वपूर्ण माना जाता है।
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बुढ़वा मंगलवार पर क्या करना चाहिए
यदि आप हनुमान जी की कृपा पाना चाहते हैं, तो बुढ़वा मंगलवार के दिन हनुमान मंदिर जी के मंदिर दर्शन करने जाएं और प्रसाद चढ़ाएं। इस दिन दान करने का भी बहुत महत्व है। आप हनुमान जी को एक बड़ के पेड़ का पत्ता भी अर्पित कर सकते हैं।
इस पत्ते के सूख जाने पर आप उसे किसी पवित्र नदी में बहा दें। इस उपाय को करने से आपके जीवन के सारे कष्ट दूर हो सकते हैं।
बुढ़वा मंगल पर कैसे करें हनुमान जी की पूजा
बुढ़वा मंगल पर आप सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि से निवृत्त हो जाएं और इसके बाद अपने घर के पूजन स्थल की सफाई करें। आपको आज के दिन साफ और धुले हुए वस्त्र ही पहनने हैं। इसके बाद पूजन स्थल के सामने कुश का आसन ग्रहण करें।
यदि आप आज व्रत कर रहे हैं, तो हनुमान जी की मूर्ति के आगे घी का दीपक जलाएं और व्रत रखने का संकल्प लें। इसके पश्चात् हनुमान जी को सिंदूर, पुष्प, तिलक और धूप-दीप दें। हनुमान जी को बूंदी के लड्डू बहुत प्रिय हैं इसलिए आज के दिन आप उन्हें इनका भोग जरूर लगाएं। इसके बाद हनुमान जी की आरती करें और हनुमान चालीसा का पाठ जरूर करें।
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हनुमान जी की पूजा में ध्यान रखने योग्य बातें
- ज्योतिष में मंगलवार के दिन व्रत रखने को बहुत महत्वपूर्ण माना गया है। अगर इस दिन आपके घर में किसी ने बुढ़वा मंगलवार का व्रत रखा है, तो आप इस दिन तामसिक भोजन या मांस-मदिरा का सेवन न करें।
- मंगलवार के दिन काले या सफेद रंग के वस्त्र पहनना भी अशुभ रहता है। आप इस दिन किसी को भी पैसे उधार न दें और न किसी से पैसे उधार लें।
- बुढ़वा मंगलवार के दिन दान-पुण्य करें और किसी का भी अपमान न करें। उत्तम होगा अगर आप इस दिन ब्रह्मचर्य का पालन करें।
हनुमान जी की प्रिय राशियां
राशिचक्र की सभी राशियों में से कुछ राशियां ऐसी हैं जिन पर सदैव हनुमान जी की कृपा बरसती है। आगे उन्हीं राशियों के बारे में विस्तार से बताया गया है।
मेष राशि
मेष राशि के लोगों के जीवन के सारे संकट हनुमान जी की उपासना से दूर हो सकते हैं। इस राशि के लोगों को हनुमान जी ज्ञान, कौशल और बुद्धि प्रदान करते हैं। ऐसा माना जाता है कि मेष राशि के लोगों को हर मंगलवार हनुमान जी की पूजा करनी चाहिए।
इससे उनके जीवन के सारे संकट दूर होते हैं और उन्हें सौभाग्य की प्राप्ति होती है। इसके साथ ही इन जातकों की आर्थिक परेशानियां भी दूर हो जाती हैं।
सिंह राशि
इस राशि के लोगों पर भी हनुमान जी की विशेष कृपा बरसती है। यदि ये सच्चे मन से हनुमान जी की उपासना करें, तो इनका जीवन परेशानियों और अड़चनों से मुक्त हो सकता है। इनके परिवार में सुख-शांति रहती है और इनका जीवन संपन्नता से भर जाता है।
वृश्चिक राशि
वृश्चिक राशि के लोगों को हनुमान जी की कृपा से अपने सभी कार्यों में सफलता प्राप्त होती है। ये मुश्किल काम को आसानी से कर लेते हैं और अपनी सभी जिम्मेदारियों और कर्त्तव्यों को पूरा करते हैं। हनुमान जी की पूजा करने से इन्हें संपन्नता प्राप्त होती है।
कुंभ राशि
हनुमान जी की प्रिय राशियों में कुंभ राशि का नाम भी आता है। इनके कार्य बिना किसी अड़चन के पूरे होते हैं। ये शांतिपूर्वक जीवन व्यतीत करते हैं और आर्थिक स्थिति भी इनकी संतुलित रहती है। हनुमान जी कुंभ राशि के लोगों की भक्ति से जल्दी प्रसन्न हो जाते हैं। इन्हें हर मंगलवार को हनुमान मंदिर जाकर हनुमान जी के दर्शन करने चाहिए।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
उत्तर. इस बार बुढ़वा मंगल 28 मई, 2024 को पड़ रहा है।
उत्तर. कहते हैं कि इस दिन हनुमान जी की पूजा करने से मनोकामना की पूर्ति होती है।
उत्तर. इस साल चार बुढ़वा मंगल पड़ रहे हैं।
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